उनके जज्बे को सलाम हृदय में स्टंट लगने के बावजूद कराते हैं योग
राजेश मिश्रा
आधुनिक परिपेक्ष में लोग अपने द्वारा किए गए बेवजह कार्यों से अपने सेहत से खिलवाड़ किया जा रहा हैं। सीधी तौर पर कहे तो किसी के पास अपने स्वास्थ्य पर ध्यान देने के लिए जरा सी भी समय नहीं है। जबकि शास्त्रों में सीधी तौर पर उल्लेख किया गया है कि स्वास्थ्य ही धन है।
लेकिन किताबों में लिखी गई बातों को कौन मानता है।धूम्रपान के डब्बे पर लिखने का बावजूद कि इसका सेवन स्वास्थ्य के लिए हानिकारक है।इससे कैंसर जैसी गंभीर बीमारी होती है। फिर भी इसे लोगों के द्वारा नजर अंदाज करके सेवन बेफिक्र होकर किया जाता है।जो आने वाले भविष्य की पीढ़ियों के लिए चिंता जनक है।
जबकि योग के द्वारा कहीं गंभीर बीमारियों को ठीक किया जा सकता है। खबरी चाचा को दिए गए साक्षात्कार में अस्थमा रोग से पीड़ित व्यक्तियों के लिए इसके निवारण के लिए गया जिले के रहने वाले 72 वर्षीय योग शिक्षक तालकेश्वर पाठक ने बताया कि अस्थमा के मरीजों के लिए योग बेहद कारगर है।
योग करने से न सिर्फ आपको सांस संबंधी तकलीफों से छुटकारा मिलेगा,बल्कि आपको इनहेलर लेने की जरूरत भी नहीं पड़ती है। योग से फेफड़ों में ताजी हवा पहुंचती है और सांस से जुड़ी सारी समस्याएं दूर हो जाती है।अस्थमा के रोग में प्राणायाम और धनुरासन करना काफी फायदेमंद होता है।
बस जरूरत है इसे प्रतिदिन निस्वार्थ भाव से नियमित रूप से करना उनके द्वारा बताया गया कि 12 वर्ष पूर्व हृदय में स्टंट लगने के बावजूद मै लगातार लोगों को योग करने के लिए प्रेरित कर रहा हूं। जबकि 16 वर्षों से मैं डायबिटीज का भी पेशेंट हूं।
लेकिन योग के बल पर अपने आप को हमेशा फिट रखने का प्रयास करता हूं। और सभी लोगों को भी लगातार योग करने के लिए प्रेरित करते रहता हूं। क्योंकि आने वालें समय में योग के बिना जीवन संभव है ही नहीं इसे नजर अंदाज बिल्कुल नहीं किया जा सकता उनके द्वारा समाज हित में युवाओं से अपील किया गया है कि अपने शरीर को स्वस्थ रखने के लिए प्रतिदिन एक घंटा जरूर समय दे इससे आपका शरीर ऊर्जावान बना रहेगा और लोग तभी स्वस्थ रहेंगे।