अभयानंद सुपर 30 के संस्थापक पूर्व डीजीपी बिहार का मानना है कि समाज अपने समस्याओं का समाधान स्वयं कर सकता है। इसी क्रम में उन्होंने 2015 में अपनी सेवा निवृत्ति के उपरांत अभयानंद सुपर 30 की स्थापना की है।
ज्ञात हो कि अभ्यारण सुपर 30 अपने स्थापना के प्रथम वर्ष 2015 से ही समाज के गरीब मेघावी छात्रों को रहने खाने एवं पढ़ने की निशुल्क सुविधा प्रदान करते आ रही है। इसके प्रयास से विगत 8 वर्षों में 87 छात्र आईटीआई 127 छात्र एन.आई.टी में पढ़ चुके है। इन सफलताओं को देखकर 2018 मेडिकल विंग अभयानंद सुपर 30 की स्थापना की गई।
जिसके फलस्वरुप अपने प्रथम प्रयास में सरकारी मेडिकल कॉलेज में 18 क्षेत्र में दाखिला लिया। यह सिलसिला निरंतर रूप से बिहार में अब तक चलते आ रही है। विगत वर्ष तीन बच्चों का दाखिला अखिल भारतीय आयुर्वैदिक संस्थान एम्स में हुआ।
झारखंड में अभयानंद सुपर 30 अपनी उपस्थिति प्रथम बार दर्ज कर रहा है ताकि अभयानंद जी के मिशन का लाभ झारखंड के गरीब एवं मेघावी छात्रों को भी प्राप्त हो सके। वैसे छात्र जो इस वर्ष किसी भी बोर्ड से 10वीं परीक्षा दे चुके हैं।
www.abhayanandsuper30.com पर जाकर 31 मार्च को होने वाले जांच परीक्षा में सम्मिलित होने के लिए आवेदन कर सकते हैं तथा छात्र अपने सुविधा अनुसार बिहार एवं झारखंड में बनाए गए परीक्षा केंद्रों पर परीक्षा दे सकते हैं।