*ग्रामीण क्षेत्र में अभी भी जागरूकता की है कमी मुसीबत में अत्यधिक ब्याज पर लेते हैं रुपए*
*राजेश मिश्रा*
औरंगाबाद।ऐसे तो बैंकों के द्वारा कई प्रकार के ऋण वितरण किए जाते हैं। लेकिन आज भी बहुत से लोग इस बात से अनभिज्ञ है। उन्हें पता ही नहीं है मुसीबत पड़ने पर घर में रखे कीमती जेवरात पर भी ऋण प्राप्त किए जा सकते हैं। इस मसले पर सवाल के जवाब देते हुए रमेश चौक स्थित भारतीय स्टेट बैंक के अधिकारी अभिषेक झा ने बताया कि खास करके ग्रामीण क्षेत्र में स्पष्ट रूप से जानकारी का अभाव देखने को मिलती है।
कहने का तात्पर्य यह है कि घर में रखे जेवरात पर भी आप बैंक से आसानी से ऋण प्राप्त किए जा सकते हैं। और अपने काम को आसानी से किया जा सकते हैं। अक्सर देखा जाता है कि मुसीबत के समय में लोग सेठ साहूकार से अत्यधिक ब्याज पर रुपए लेते हैं और गरीब तबके के लोग अत्यधिक ब्याज के बोझ तले दबते चले जाते हैं।
यह चिंतनीय हैं क्योंकि बैंकों के द्वारा समय-समय पर कई तरह के गरीब तबके के उत्थान के लिए ऋण वितरण किए जाते हैं। जिसका लाभ लोगों को जरूर उठानी चाहिए। यह कार्य बिना जन जागरूकता के संभव नहीं है।