आपदा से निपटने के लिए सभी संबंधित विभाग के पदाधिकारियों को दिए गए आवश्यक निर्देश
औरंगाबाद।जिले में शुक्रवार को जिला पदाधिकारी, श्रीकांत शास्त्री की अध्यक्षता में समाहरणालय सभागर में आपदा प्रबंधन विभाग की समीक्षा बैठक आयोजित की गई। बैठक में डीएम ने गर्मी के मौसम में संभावित आपदा से सुरक्षा हेतु विभागवार समीक्षा की। गर्मी के कारण जिले में हो रहे हीट वेव (लु),सुखाड़,पीने का पानी की कमी, लू जैसे आपदा से निपटने के लिए सभी संबंधित विभाग के पदाधिकारियों को आवश्यक निर्देश दिए गए।बैठक में जिला
पदाधिकारी के द्वारा सिविल सर्जन को बताया गया कि भीषण गर्मी के मौसम में जिले के अस्पतालों में हीट वेव से पीड़ित मरीजों की संख्या में लगातार बढ़ोतरी होने की सूचना मिल रही है जो गंभीर चिंता का विषय है इससे निपटने के लिए हमें तत्परता से तैयार रहनी होगी। उनके द्वारा सिविल सर्जन को निर्देश दिया गया कि जिले के सभी अस्पतालों में पर्याप्त मात्रा में ओआरएस घोल, दवाइयां, मरीज के लिए बेड, डॉक्टरों की प्रतिनियुक्ती, कुलर आदि का समुचित व्यवस्था हो।
जिला पदाधिकारी के द्वारा यह भी बताया गया कि किसी भी परिस्थिति लू से ग्रसित मरीजों के इलाज में कोताही नहीं बरती जाए।जिला पदाधिकारी के द्वारा सभी कार्यपालक पदाधिकारी से संबंधित वार्डो में पेयजल की समस्या का समाधान किस प्रकार कर रहे हैं इसकी बिंदुवार जानकारी ली एवं जिन वार्डो में पेयजल आपूर्ति की व्यवस्था टैंकर, वाटर एटीएम एवं पेआउ के माध्यम से माध्यम से करने का निर्देश दिए। आवश्यक दिशा निर्देश दिये।कार्यपालक
पदाधिकारी औरंगाबाद के द्वारा बताया गया कि शहर में 18 स्थलों पर पेआऊ के माध्यम से पेयजल की आपूर्ति करायी जा रहा है एवं जिन वार्डो में पानी की समस्या है वहां टैंकर के माध्यम से नियमित रूप से जलापूर्ति कराई जा रही है।
कार्यपालक पदाधिकारी नवीनगर के द्वारा बताया गया कि सभी 14 वार्ड में नल जल से के माध्यम से हर घर पानी पहुंचता है। मोटर खराब की सूचना पर तुरंत मरम्मत करा दी जाती है। इसके अतिरिक्त नगर में 8 स्थानों पर वाटर कूलर, 8 स्थलों पेआउ, 12 स्थानों पर घड़ा तथा एक वाटर टैंकर के माध्यम से पेयजल की आपूर्ति कराई जा रही है।
कार्यपालक पदाधिकारी रफीगंज के द्वारा बताया गया कि सभी 16 वार्ड है जिसमें जल आपूर्ति की कोई समस्या नहीं है। । सिर्फ दो वार्ड में कल से पेयजल की समस्या का सूचना मिली है जहां टैंकर के माध्यम से तत्काल जल आपूर्ति कराई जा रही है जहां तुरंत समस्या का समाधान कर दिया जाएगा। इसके अतिरिक्त सूचना मिलने पर चपकालों की मरमती कराई गई है तथा 40 स्थान पर पेआउ का भी व्यवस्था किया गया है।इसी प्रकार अन्य वार्डों के कार्यपालक
पदाधिकारी से पेयजल की समस्या से अवगत हुए एवं आवश्यक दिशा निर्देश दिए।कार्यपालक अभियंता लोक स्वास्थ्य प्रमंडल को के द्वारा बताया गया कि जिले में कुल लगभग 1100 चापाकल खराब स्थिति में थी जिसमें 1017 चपकालों को मरमती कर दिया गया है। जिला पदाधिकारी के द्वारा निर्देश दिया गया कि जिन चपकालों का जल भू स्तर नीचे चला गया है उसके बगल में नया चापाकल लगायें।इसके अतिरिक्त जिला पदाधिकारी ने सभी प्रखंड विकास
पदाधिकारी से गांवों में होने वाले पेयजल की समस्या का समाधान करने का अविलंब निर्देश दिए। उनके द्वारा निर्देश दिया गया कि सभी प्रखंड विकास पदाधिकारी स्वयं गांव-गांव घूम कर पेयजल की स्मस्या का पता करें। शिकायत आने का इंतजार ना करें और वहां अविलंब पेयजल मुहैया कराएं।
पशु एवं मत्स्य पदाधिकारी को पशुओं की दवा की पर्याप्त उपलब्धता एवं पशुओं के लिए पानी पीने की समुचित व्यवस्थाके बारे में पूछे एवं आवश्यक दिशा निर्देश दिया गये।इस भीषण गर्मी में के कारण सुखाड़, पीने का पानी की समस्या, लू जैसे आपदा से
निपटने के लिए अन्य विभाग के संबंधित पदाधिकारियों को भी आवश्यक निर्देश दिए गए।उक्त बैठक मैं अपर समाहर्ता श्री ललित रंजन भूषण, जिला पंचायती राज पदाधिकारी इफ्तेखार अहमद, आपदा प्रभारी श्रीमती रत्ना प्रियदर्शनी,जिला जनसंपर्क पदाधिकारी श्रीमती श्वेता प्रियदर्शी, डीपीओ आईसीडीएस श्रीमती रचना कुमारी, कार्यपालक अभियंता पीएचडी, सिविल सर्जन, सभी नगर परिषद के कार्यपालक पदाधिकारी ,सभी प्रखंड विकास पदाधिकारी एवं अंचल अधिकारी एवं जिला स्तरीय अन्य पदाधिकारी उपस्थित थे।