आचार संहिता उल्लंघन मामले में पूजा कमिटी पर एफआईआर, निष्पक्ष जांच की मांग

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ओबरा, (औरंगाबाद)।ओबरा अंचल के अंचलाधिकारी के द्वारा ओबरा प्रखंड के दो पूजा समिति पर प्राथमिकी दर्ज करने का मामला प्रकाश में आया है। दर्ज प्राथमिकी में बताया गया कि 17 अप्रैल को ओबरा प्रखंड मुख्यालय में रामनवमी पर्व को लेकर जुलूस का आयोजन किया गया था,

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जुलूस जब काली स्थान के पास पहुंचा तो जुलूस को रोक दिया गया। ड्यूटी पर तैनात ओबरा प्रखंड विकास पदाधिकारी मो० यूनुस सलीम, ओबरा थानाध्यक्ष अजय कुमार, पु०अ०नि० अयूब अंसारी, अविनाश कुमार, पु०स०अ०नि० धर्मेन्द्र यादव, संजय ठाकुर तथा स्पेशल सशस्त्र बल ने जुलूस को बार-बार आगे बढ़ाने को कहा पर जुलूस को आगे नही बढ़ाया गया।

थोड़ी देर बाद तीन डीजे लदे पिकअप उच्च ध्वनि में गाना बजाते हुए लाया गया डीजे बंद करने को कहा गया तो समिति के सदस्य उतेजित होकर शांति भंग करने का प्रयास करने लगे। इस आलोक में ओबरा हनुमान मंदिर पूजा समिति के अध्यक्ष जयपाल प्रसाद सोनी, सत्यम पंचमुखी हनुमान मंदिर पुनपुन घाट के अध्यक्ष अरविंद कुमार, डीजे संचालक, वाहन चालक सहित पूजा समिति के 15-20 अज्ञात लोगों के ऊपर प्राथमिकी दर्ज किया गया है।

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इस संबंध में पूजा कमिटी के सदस्यों ने बताया कि प्रशासन द्वारा झूठा आरोप लगाया गया है, शहर में जुलूस शांतिपूर्ण ढंग से सम्पन्न हुआ है इसके बावजूद प्रशासन द्वारा जो तानाशाही रुख अपनाते हुए प्राथमिकी दर्ज किया गया है उसका निष्पक्ष तरीके से जांच होनी चाहिए और यदि पूजा कमिटी दोषी है तो कमिटी के सदस्यों के ऊपर और यदि प्रशासन के लोग दोषी है तो उनके ऊपर निश्चित रूप से कार्रवाई होनी चाहिए।

इधर सड़क दुर्घटना रोकथाम समिति के सदस्य पुष्कर अग्रवाल, चंदन सिंह, सहजानन्द डिक्कू ने जिलाधिकारी एवं पुलिस अधीक्षक से ओबरा रामभक्त पर हुए एफआईआर को वापस लेने और उच्चस्तरीय जांच करने की मांग की है।

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